ध्यान का महत्व
26th Apr 2025
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राम-नाम जप-पाठ से, हो अमृत संचार !
13th Aug 2024॥ श्रीराम ॥
राम-नाम जप-पाठ से, हो अमृत संचार !
[श्रावणी सत्संग : 4 अगस्त, 2024]
भक्ति भरी नदियां बहें, वृष्टि में गहराय । छम छम बरसें प्रेम की, बादलियां जब आय ।।
लगे झड़ी सत् संग में, हरि यश वर्णन संग। उछलें प्रेम तरंग तब, उमड़े भक्ति सुगंग ।।
परम पिता परमेश्वर तथा माँ प्रकृति ने श्रावणी सत्संग (4 अगस्त 2024) में शुभ संयोग रचा। श्री माधव सत्संग आश्रम-श्रीराम शरणम्, ग्वालियर में राम रस की भरपूर वर्षा हुई। बाहर अमृत जल बरसा तो भीतर रामामृत रस बरसा। परन्तु परमात्मदेव की अति कृपा रही कि इतनी अधिक वर्षा में भी कोई व्यवस्था भंग नहीं हुई, सभी बैठकें सुचारू रूप से पूर्ण हुई। हॉल में धुन-भजन के साथ-साथ वर्षा की गति भी बढ़ती गई। सभी साधकों ने नियम अनुशासन का पालन करते हुए खूब राम नाम जपा, संकीर्तन किया तथा अति सुस्वादु भोजन का आनन्द उठाया।
रामामृत बरसाने के लिए परम पिता परमात्मा एवं माँ प्रकृति का बार-बार धन्यवाद !
प्रेषक : श्रीराम शरणम्, रामसेवक संघ, ग्वालियर